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उन्नाव के 35 गांव अंधेरे के साए में, 24 घंटे से बत्ती गुल; ग्रामीणों में बिजली विभाग को लेकर आक्रोश

उत्तर प्रदेश के उन्नाव जिले में एक तरफ सरकार 24 घंटे बिजली देने दावा कर रही है. वहीं, दूसरी तरफ बिजली विभाग के मातहत सरकार की मंशा पर पानी फेरते हुए नजर आ रहे हैं. आपको बता दें कि जिले के 35 गांव की बिजली तकरीबन 24 घंटे से भी ज्यादा वक्त से नहीं आई है. जिसके चलते ग्रामीणों में बिजली विभाग को लेकर गुस्सा बना हुआ है.

बताया जा रहा है कि जिले के हसनगंज सब स्टेशन के हसनापुर फीडर की विद्युत आपूर्ति 24 घंटे से ज्यादा समय बीत जाने के बावजूद बाधित है. फीडर में पड़ने वाले लगभग 35 गांवो के ग्रामीणों को पानी से लेकर कई दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. स्थानीय लोग अंधेरे में अपना जीवन बिताने पर मजबूर है. मोबाइल की बैटरी खत्म हो चुकी है. बिजली न होने पर ट्यूबवेल नहीं चल पा रहा है. किसान परेशान हैं. खेतों में पानी की समस्या भी सामने खड़ी हो रही है.

जिम्मेदार बोले- फाल्ट की समस्या दूर करने के प्रयास में लगे

एक गांव के ग्रामीणों का कहना है कि पिछले कई महीने में ऐसा हुआ है कि लगातार 24 घंटे से ज्यादा समय हो जाने के बाद भी बिजली नहीं आई हो. वहीं, एक अन्य ग्रामीण ने बताया कि बिना बिजली खेतों तक पानी भी नहीं पहुंच पा रहा है, जिसके कारण फसलों को भी नुकसान हो रहा है. खाना-बनाने से लेकर पीने तक के लिए पानी नहीं है. इस संबंध में अधिशासी अभियंता ने बताया कि इंसुलेटर पंचर हो जाने के कारण सप्लाई नहीं चालू हो पा रही है. जेई, उपखंड अधिकारी सहित सभी कर्मचारी पूरे दिन से काम कर रहे है, लेकिन अभी तक फाल्ट व इंसुलेटर की समस्या नहीं मिली है. काम पूरा होते ही सप्लाई चालू की जाएगी.

यहां 24 घंटे से छाया अंधेरा

जिले के रसुलपुर बकिया, हसनापुर, मूसेपुर, सेमरा, सैरपुर, बहरौली, सलेमपुर, रजापुर, फखरूद्दीन मऊ, अहमदपुर टकटौली, नेपालपुर, दरिहट, फरीद्दीपुर, बदबादाखेड़ा, रफिगाढी, मोहनीखेड़ा, अकबरपुर सहित अन्य गांवो के लोग 24 घंटे बीत जाने के बावजूद अंधेरे में है.

मोमबत्ती और लैंप बना सहारा

वहीं, बिजली न आने से लोग मोमबत्ती में गुजारा कर रहे हैं. गांव इलाकों के पहले राशन की दुकानों पर केरोसिन का तेल मिलता था, लेकिन पिछले कई साल से यह सेवाएं भी बंद हो गई है.

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